दुबई। संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के दुबई की पहचान एक ग्लोबल शहर के तौर पर है। गगनचुंबी इमारतों वाले इस शहर में दुनिया की बड़ी-बड़ी कंपनियों के ऑफिस हैं, जहां अलग-अलग देशों से लोग आकर रहते हैं और काम करते हैं। इसी दुबई में पाकिस्तान के लोग कमाने नहीं, बल्कि भीख मांगने जाते हैं। पाकिस्तानी दुबई में कोई मजबूरी में भीख मांगने नहीं जाते, बल्कि ये सब पूरा रैकेट के तहत होता है। पाकिस्तान से बाकायदा इनको वीजा देकर उन्हें दुबई भीख मांगने के लिए भेजा जाता है। इस्लाम के पवित्र रमजान महीने में तो भिखारियों की संख्या इतनी बढ़ गई कि दुबई प्रशासन परेशान हो गया और पुलिस को इन भिखारियों के खिलाफ अभियान चलाना पड़ा। दुबई पुलिस ने इस अभियान के तहत रमजान महीने के पहले दो सप्ताह में 202 भिखारियों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए भिखारियों में 112 पुरुष और 90 महिलाएं हैं। खलीज टाइम्स ने दुबई पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ब्रिगेडियर अली सलेम अल शम्सी के हवाले से बताया है कि इन पकड़े गए भिखारियों में अधिकांश विजिट वीजा पर यूएई पहुंचे हैं। ये लोगों की दयालुता का फायदा उठाते हैं और उन्हें झूठी कहानियां सुनाकर पैसा ऐंठते हैं। शम्सी ने कहा, ये भिखारी जानते हैं कि यूएई के लोग मददगार और दयालु होते हैं। बता दें दुबई में भीख मांगने को अपराध की श्रेणी में डाला गया है।