हल्द्वानी। गौला खनन के निजीकरण को लेकर आंदोलित वाहन स्वामियों को जीपीएस लगाने के मामले में शासन ने छूट देकर राहत पहुंचाई है। अब 30 जून तक जीपीएस लगे वाहनों में वीएलटी डिवाइस लगाने के लिए समय दिया है। ऐसे में गौला खनन वाहनों को यह डिवाइस लगाए बगैर फिटनेस प्रमाण पत्र निर्गत कर दिया जाएगा। इस दौरान वाहन स्वामियों से डिवाइस तय समय में लगाने के बाद बंधपत्र लेने को भी कहा गया है। इस संबंध में परिवहन आयुक्त अरविंद हृयांकी ने निर्देश जारी किए हैं।
गौरतलब है कि वन निगम गौला खनन वाहनों में जीपीएस सिस्टम लगाकर उनका ट्रैकिंग संबंधी रिकॉर्ड रखता है। इधर शासन ने आरएफआईडी डिवाइस लगे वाहनों में वीएलटी लगाने में खनन वाहनों स्वामियों को छूट प्रदान की है। वहीं गौला खनन कारोबारी निजीकरण किये जाने का पुरजोर विरोध कर रहे हैं। इस बीच गौला खनन संघर्ष समिति के अध्यक्ष पम्मी सैफी ने जीपीएस सिस्टम से छूट देने पर मुख्यमंत्री पुष्कर धामी का आभार जताया है। आभार जताने वालों में मनोज मठपाल, इंदर सिंह बिष्ट, अरशद अयूब आदि शामिल हैं।
गौला खनन संघर्ष समिति के अध्यक्ष पम्मी सैफी ने बताया कि कुछ लोग जनहित में चलाए जा रहे गौला खनन से जुड़े आंदोलन को राजनीतिक रंग देने की कोशिश कर रहे हैं। ऐसे लोगों के मंसूबे कामयाब नहीं होने दिये जाएंगे। गौला खान से हजारों लोगों को रोजी-रोटी जुड़ी है। लोगों का रोजगार न छीने इसके लिए गौला निजीकरण का विरोध किया जा रहा है।